ब्रेन स्ट्रोक से पीड़ित उमाशंकर यादव अस्पताल में भर्ती है इलाज के लिए समाजसेवी पवन सिंह ने की 50 हज़ार की तत्काल मदद आगे भी मदद का दिया आश्वासन
रिपोर्ट ब्यूरो
गोरखपुर/ जब इंसान बहुत खुश रहता और हर चीज़ से सम्पन्न होता है धन की कोई कमी नही होती है तो उसके नात रिश्तेदार भी उसकी हर खुशी में ऐसे शामिल होते है जैसे उनके सिवा कोई दूसरा उनका हमदर्द नही है लेकिन वही इंसान जब आर्थिक तंगी में जीवन जीने लगता है या किसी गंभीर बीमारी से ग्रसित हो जाता है तो वही रिश्तेदार जो रिश्ते की अहमियत बताते नही थकते थे जो खुद को उनका सबसे अजीज समझते थे वो ऐसे बदल जाते है जैसे वो उन्हें जानते ही नही जैसे उनका कोई रिश्ता ही नही है असल मे इंसान की असली पहचान मुसीबत के वक्त ही होती है मुसीबत में ही पता चलता है कौन अपना है कौन पराया है लेकिन इन सब रिश्तों से अलग एक युवा समाजसेवी जो किसी मसीहा से कम नही है वो सिर्फ इंसानियत के रिश्तों को महत्व देते है कोई भी व्यक्ति चाहे वो किसी भी मत मजहब का हो उस शख्स की नीयत सिर्फ मदद की होती है और वो सिर्फ मदद करता है हम बात कर रहे है युवा समाजसेवी पवन सिंह की जो इन दिनों पूरे पूर्वांचल में गरीबो के मसीहा के रूप में जाने व पहचाने जाते है युवा समाजसेवी ने ऐसी ही एक मदद गोरखपुर जिले के रहने वाले उमाशंकर यादव की की जो इस वक्त जिन्दगी और मौत से जंग लड़ रहे है आर्थिक तंगी की वजह से इलाज करवाने में दिक्कते आ रही है जो अपने होने का दम भरा करते थे वो दूर दूर तक नज़र नही आ रहे है युवा समाजसेवी पवन सिंह को जैसे ही सूचना मिली उनकी पुत्री को अपने आवास पर बुला कर पूरा मामला जाना उनकी पुत्री ने बताया कि हम दो बहनें है एक बहन मदन मोहन मालवीय इंजीनियरिंग कॉलेज में गार्ड की नौकरी करती है मैं सिविल सेवा की तैयारी कर रही हूं मात्र एक बहन की कमाई से परिवार चल रहा है ऐसे में पिता जी को ब्रेन स्ट्रोक हो गया है सरकार की किसी भी योजना का लाभ नही मिल पा रहा है घर के हालात बहुत खराब है पिता जी के इलाज कराने में दिक्कते आ रही है सारी बातों को सुनने के बाद समाजसेवी पवन सिंह ने बहन को हिम्मत देते हुए तत्काल पचास हजार रुपये की नगद धनराशि दिया और आगे भी इलाज में किसी तरह की दिक्कत होने पर मदद का आश्वासन दिया। सोचिये और समझिये जो रिश्तों की दुहाई देते हुए नही थकते थे आज उमाशंकर यादव जब जिंदगी और मौत से जंग लड़ रहे है उस वक्त वो सब ऐसे गयाब हो गए जैसे उनसे कोई रिश्ता ही नही था भला हो ऐसे इंसानियत के फरिश्ते का जो इस मुसीबत की घड़ी में साथ देने के लिए आगे आये पवन सिंह कहते है कि मैं कुछ नही करता हूँ ईश्वर ने मुझे उस लायक बनाया है कि मैं किसी की मदद कर पा रहा हूँ जो कुछ भी होता है सब ईश्वर के आदेश पर होता है।