अंबेडकरनगर ब्यूरो चीफ मुकेश मिश्र
अंबेडकरनगर – विधानसभा चुनाव 2022 के 6वें चरण का मतदान गत 3 मार्च को जिले के सभी पांच विधानसभा सीटों पर सम्पन्न हुआ। चुनाव व्यवधान रहित हो और मतदान कर्मी अपने संबंधित केंद्रों पर समय से पहुंचे और वापस हो सके इसके दृष्टिगत जिला प्रशासन ने वाहनों को अधिग्रहीत किया था, उसमें अधिकांश वाहन नदारद रहें। मतदान तिथि के बाद संभागीय परिवहन अधिकारी (प्रशासन) आयोध्या संजय सिंह के निर्देश पर एआरटीओ अम्बेडकर नगर बीडी मिश्र द्वारा चुनाव कार्य हेतु अपना वाहन न देने वाले जिले के लगभग 150 निजी बसों व 300 से अधिक चार पहिया वाहन स्वामियों से स्पष्टीकरण मांगा गया है।अन्यथा की स्थिति में गैर जिम्मेदार वाहन स्वामियों के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत करने की बात कही गई।
परिवहन महकमे का ऐसा रुख देखकर जिले के गैर जिम्मेदार वाहन स्वामी जिन्होंने लोकतंत्र के महापर्व चुनाव में प्रशासन व महकमे का असहयोग किया है उनमें हड़कंप मचा हुआ है। इस बाबत संभागीय निरीक्षक (प्राविधिक) विपिन कुमार ने बताया कि जिले के लगभग 150 निजी बसों व बोलरो वाहनों के पंजीकरण रद करने के साथ ही इनके मालिकों पर सरकारी कार्य में बाधा डालने और आचार संहिता उल्लंघन के आरोप में एफआइआर दर्ज कराया जाएगा। जिले में इस तरह की कार्रवाई पहली बार हुई है।
वाहन स्वामियों पर सरकारी कार्य में बाधा व आचार संहिता उल्लंघन का दर्ज होगा केस,परिवहन महकमे के इस कार्रवाई से वाहन स्वामियों में हड़कंप,जिले में पहली बार हुई इस तरह की कार्रवाई .आरटीओ अयोध्या ने अम्बेडकरनगर एआरटीओ बीडी मिश्र को निर्देशित किया कि हाल में सम्पन्न हुए विधानसभा सामान्य निर्वाचन 2022 में यह दृष्य परिलक्षित हुआ कि वाहनों विशेषतया बसों के सम्बन्ध में आप सभी को अप्रत्याशित चुनौतियों का सामना करना पड़ा जिसमें अधिग्रहण आदेशों की तामीली के सापेक्ष वाहनों की उपस्थिति/आमद सबसे बड़ी चिन्ता का विषय रही।
इस बार के चुनाव प्रक्रिया को जो कि बसों से ही सम्पन्न कराये जाने की व्यवस्था अमल में लायी गयी, को दृष्टिगत रखते हुए यह आवश्यक है कि इस बात का परीक्षण कर लिया जाए कि इतने संवेदनशील मुद्दे पर किन-किन वाहन स्वामियों द्वारा उदासीनता बरती गयी, प्रशासन का सहयोग नहीं किया गया और उनको इस तरह के कृत्य करने की छूट दिया जाना परिवहन विभाग की गरिमा के अनुरूप नहीं होगा। चुनाव में जिन वाहन स्वामियों ने वाहन नहीं उपलब्ध कराये हैं उनको लिखित कारण बताओ नोटिस जारी करते हुए अपना सुस्पष्ट मन्तव्य अधोहस्ताक्षरी को 15 दिन के अन्दर भेजना सुनिश्चित करें। मतदान के दिन वापसी के समय वाहनों की कमी से कई मतदान कर्मियों को पैदल लौटना पड़ा।