रिपोर्ट ब्यूरो
गोरखपुर। 2006 में पंचायत भवन का निर्माण किया गया था। अभी वह मौजूद है परंतु मात्र 15 साल में ही पंचायत भवन की आवश्यकता क्यों पड़ी ग्रामीण इस पर आश्चर्यचकित है। जनता के पैसे का बंदरबांट किया जा रहा है।24 नवंबर बुधवार को पाली विकासखंड के रंदौली उर्फ मठिया में बनाए जा रहे नवनिर्मित पंचायत भवन के मानक को लेकर ग्रामीणों में भारी आक्रोश है । ग्रामीणों का कहना है कि ठेकेदार व अधिकारी की मिली भगत से भवन में सेम व घटिया ईंट का प्रयोग किया जा रहा है । पंचायत भवन का पिलर भी केवल 16 इंच का गड्ढा खोदकर बिना जाली डाले तैयार किया गया है। शिकायत के बावजूद भी जिम्मेदार आंख मूंदे हुए हैं । इस बात को लेकर ग्रामीणों में भारी आक्रोश है । गांव के बुद्धि सागर तिवारी, महेंद्र तिवारी, बृजेश, राजेंद्र पंकज दिवाकर, देवदास, रामकरन, रविंद्र तिवारी श्री राम,दूबर समेत अन्य लोगों का कहना है कि-वर्तमान पंचायत भवन पूरी तरह ठीक-ठाक ठाक है ।
इसका निर्माण सन् 2006 में कराया गया था। ग्राम सभा के केशवाखोर गांव में भी सचिव आवास बना हुआ है फिर क्यों तीसरे पंचायत भवन की आवश्यकता हुई ग्रामीणों को यह समझ में नहीं आ रहा है। उस पर कभी चुना कली ही नहीं कराया गया और ना ही इसकी मरम्मत कराई गई इस कारण वह बदहाल पड़ा है । पैसे की भूख ने अधिकारियों को बावला बना दिया है । भवन ठीक-ठाक होते हुए भी पुनः निर्माण कराने के पीछे उनकी मंशा क्या है ? यह सोचनीय है । इसकी उच्चस्तरीय जांच होनी चाहिए । भवन को लेकर जब ब्लाक के जे, ई ,अनिल कुमार से बात की गई, तो उन्होंने कहा कि-भवन की मियाद 100 वर्ष तक होती है । इसके बाद वह डेड हो जता है। जे ई अनिल कुमार से जब यह पूछा गया कि, 100 वर्ष तक चलने वाला पंचायत भवन 15 वर्ष में ही क्यों परित्यक्त किया गया तो उन्होंने कहा कि अधिकारी जाने मैं नहीं बता सकता। पंचायत भवन को लेकर जब पाली के एडीओ पंचायत जगदीश जायसवाल से बात की गई तो उन्होंने कहा कि भवन की मियाद 30 वर्ष होती है। जे ई और एडीओ पंचायत की यह विरोधाभास बातें ग्रामीणों के समझ में नहीं आ रही है। इस संबंध में पाली विकास खंड अधिकारी बृजेश कुमार यादव ने कहां कि पंचायत भवन को लेकर हमें शिकायतें मिली है । हमने निर्माण कार्य को तत्काल प्रभाव से रोक दिया है । जांच के बाद ही आगे की कार्रवाई की जा सकेगी।